Saturday, November 1, 2014

दीपदान महोत्सव(दीपावली)

दीपदान महोत्सव(दीपावली)
उजियारे का उत्सव 
दीपदान महोत्सव 
अशोक महान को याद कर 
उनकी राहो पर चलने की 
प्रतिज्ञा दोहराने का दिन आज
धो दे  अन्तर्मन के सारे दाग आज 
कुसुमित हो उठे स्व-मान के हर साज 
आओ एक दीया ऐसा जलाये 
हर ले हर जो  अंधियार 
सद्प्रेम के नाम एक दीया जलाये 
जहां में बसा रहे  हरदम  उजियार 
परमार्थ के नाम दीया एक जलाये 
इंसानियत की उभर जाए निखार 
बसुधैव कुटुम्बकम के नाम एक दीया
उमड़ा रहे सदा  बंधुत्वप्रेम और 
सदभाव की  रसधार 
प्रकृति के नाम भी एक दीया
जीवन का है जो सार 
बहुजन - हिताय ,
बहुजन सुखाय के  नाम 
एक दीया जरूर जलाये 
मानव -मन कह उठे आभार 
दीया एक 
राष्ट्र धर्म के नाम जलाये 
बन जाए दुनिया का उजियार 
मन्नत अपनी जहां के लिए अपनी 
समता-सदभावना,विकास राष्ट्रप्रेम में 
रहे हर्षित हर मन 
सच यही आराधना 
दीपदान महोत्सव(दीपावली) की 
आपश्री को बहुत- बहुत बधाई 
और
हार्दिक शुभकामना………………। 
डॉ नन्द लाल भारती  22.10.2014     
 


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